
ममता साहू
लैलूंगा/अमर स्तंभ प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने श्रमिक दिवस के अवसर पर सभी प्रदेशवासियों से छत्तीसगढ़ के पारम्परिक भोजन बोरे बासी खाने का आव्हान किया। और मुख्यमंत्री के इस अपील पर जिले के लैलूंगा में जनप्रतिनिधियों सहित अधिकारी-कर्मचारियों, और आम नागरिकों ने बोरे-बासी खाकर श्रमवीरों और छत्तीसगढ़ी आहार व संस्कृति को सम्मान दिया।
आपको बता दे श्रमवीरों के सम्मान, छत्तीसगढ़ी आहार व संस्कृति के गौरव की अनुभूति के साथ क्षेत्र के नेता,जनप्रतिनिधि सहित सभी ने बोरे-बासी का आनंद लिया। इस दौरान उन्होंने लोगो को बोरे-बासी का स्वाद बहुत भाया।बताना होगा की कई जगह लोगो ने बोरे बासी खाने का के लिए सामूहिक आयोजन किया तो कहीं कहीं इसका स्वाद लोगो ने अपने अपने घरों में लिया जिसमे सभी ने बोरे बासी के साथ नून चटनी, अचार, मिर्च, गोंदली (प्याज) सहित विभिन्न व्यंजनों का भी स्वाद चखा।उल्लेखनीय है कि बोरे बासी छत्तीसगढ़ की प्राचीन भोजन शैली तथा पारम्परिक विरासत है, जिसे पुनर्जीवित करने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री श्री बघेल ने श्रमिक दिवस को बोरे-बासी दिवस के तौर पर आयोजित करने का आव्हान किया, जिसका अनुसरण करते हुए लैलूंगा के जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों, कर्मचारियों, आमनागरिकों, मजदूरों, मनरेगा श्रमिकों ने भी बोरे-बासी खाकर प्रदेश के पाम्परिक व्यंजन का मान बढ़ाया।
